Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana Chhattisgarh 2024:– 17 दिसंबर, गौरव दिवस के अवसर पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना को लागू करने की घोषणा की है। इस योजना के माध्यम से किसानों की आय में वृद्धि होगी, रोजगार के अवसर बढ़ेंगे, और जंगलों पर दबाव कम होगा। इस योजना के तहत निजी जमीन पर वृक्षारोपण को बढ़ावा दिया जाएगा, जो काष्ठ उत्पादों पर निर्भर करेगा।
मुख्यमंत्री जी का विचार है कि राज्य को समृद्ध बनाने के लिए पेड़ पौधों को लगाना बहुत महत्वपूर्ण है। इसलिए, राज्यवासियों को अपनी निजी जमीन पर पेड़ लगाने की भी जरूरत है, और इसी को ध्यान में रखते हुए, सरकार इस योजना को शुरू कर रही है। आज हम इस लेख में Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana के बारे में बताएँगे।
Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana Kya Hai?
17 दिसंबर को, छत्तीसगढ़ सरकार के चार साल पूरे होने की खुशी में, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना को लागू करने का ऐलान किया। इस योजना के तहत राज्य सरकार ने 5 साल के भीतर 2 लाख एकड़ निजी जमीन पर औषधीय वृक्ष और इमारती बनाने का लक्ष्य रखा है। इस योजना के तहत, छत्तीसगढ़ सरकार निजी जमीन पर पौधों के रोपण के लिए किसानों को 50% सब्सिडी देगी। किसानों को तीन वर्ष तक प्रति एकड़ 10 हजार रुपए बोनस भी मिलेगा। इस योजना से किसानों की आय बढ़ेगी और बेरोजगारी कम होगी। सरकार भी मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना के तहत पेड़ लगाने पर किसानों की लकड़ी, छाल और अन्य उत्पादों को बिकवाने की गारंटी देगी।
Vriksh Sampada Yojana Chhattisgarh के बारे में जानकारी
योजना का नाम | Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana |
किसके द्वारा शुरू की गई | मुख्यमंत्री भूपेश बघेल द्वारा |
लाभार्थी (Beneficiaries) | राज्य के नागरिक |
उद्देश्य (Objective) | निजी भूमि पर पौधारोपण को बढ़ावा देना आय व रोजगार के अवसर को बढ़ाना |
लाभ | 50% सब्सिडी और प्रति एकड़ 10 हजार रुपए बोनस |
राज्य | छत्तीसगढ़ |
Application Process | Offline |
Official Website | http://www.cgforest.com/ |
CM Vriksh Sampada Yojana का उद्देश्य
छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी ने मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना को लागू करने का मुख्य उद्देश्य निजी भूमि पर पौधारोपण को बढ़ावा देना है, जिससे किसानों की आय में वृद्धि हो, रोजगार के अवसर बढ़ें और जंगलों पर दबाव कम हो। यह योजना किसानों को वृक्षारोपण के लिए 50% सब्सिडी देगी। राज्य सरकार का वन विभाग किसानों से देश-विदेश की कंपनियों के साथ मिलकर पेड़ों की छाला दी लकड़ी खरीदने और निर्यात करने के लिए एमओयू करेगा। जिससे राज्य में वृक्षारोपण को प्रोत्साहन मिलेगा और हरियाली से पर्यावरण सुरक्षित रहेगा।
Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana 100 करोड़ रुपये का बजट
राज्य सरकार सागौन, शीशम, बांस, ग्राफ्टेड, आंवला, चंदन और अन्य इमरती व महंगी लकड़ियों वाले पेड़ों के पौधे लगाने के लिए मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना के तहत प्रोत्साहित करेगी। फिलहाल सरकार ने 100 करोड़ रुपए का बजट इस योजना के सफलतापूर्वक कार्यान्वयन के लिए रखा है। सरकार किसानों को पौधों के रोपण के लिए 50% सब्सिडी देगी। इसके अलावा, प्रत्येक एकड़ पर तीन वर्ष तक 10,000 रुपये का बोनस भी देगी। यदि कोई किसान इस योजना के तहत एक लाख रुपये खर्च करके एक एकड़ जमीन पर पौधे लगाता है, तो उसे सरकार द्वारा एक लाख रुपये की सब्सिडी दी जाएगी।
प्राकृतिक पेड़ों को काटने की अनुमति नहीं होगी
मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना के तहत सरकार द्वारा कृषि के लिए किसानों की निजी जमीन पर रोपित और प्राकृतिक रूप से उगे पेड़ों की कटाई के नियमों का अध्ययन किया गया है। जो कहता है कि अब भूमि मालिक कृषि के लिए रोपित पेड़ों को स्वयं काट सकेंगे। इसके लिए उन्हें किसी की भी अनुमति नहीं चाहिए होगी। किसानों को पेड़ काटने के बारे में केवल अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को सूचना देनी होगी। भूमि मालिक चाहे तो वन विभाग से भी पेड़ काट सकते हैं। राजस्व अनुविभागीय अधिकारी को आवेदन मिलने के 45 दिन के भीतर निर्धारित प्रक्रिया के तहत अनुमति देनी होगी।
इस योजना के तहत लकड़ी की इमारती सामग्री आयात की जाएगी
वन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि वर्तमान में भारत में प्रतिवर्ष 60,000 करोड़ रुपए की इमारती लकड़ी विदेश से आयात की जाती है। जिसमें छत्तीसगढ़ का 10% हिस्सा शामिल है। सरकार ने भी काष्ठ उद्योगों की स्थापना पर काम शुरू किया है। 17 दिसंबर को गौरव दिवस के अवसर पर, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्य में मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना को लागू किया है, जो पेड़ों के व्यवसायिक उपयोग को बढ़ावा देने के लिए बहुत कुछ कर सकता है।
Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana के लाभ एवं विशेषताएं
- मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना राज्य के नागरिकों को अपनी निजी जमीन पर व्यवसायिक वृक्षारोपण करने के लिए प्रेरित करती है।
- इस योजना से सरकार राज्यवासियों को लकड़ी का उपयोग करने के लिए प्रेरित करेगी। जिससे किसानों को सिर्फ पेड़ों से आय मिलेगी। Mukhymantri Vriksh Sampada Yojana के माध्यम से लकड़ी उद्योगों को बढ़ावा मिलेगा।
- इस योजना के तहत किसानों को निजी जमीन पर पौधों का रोपण करने के लिए सरकार द्वारा किसानों को 50 प्रतिशत सब्सिडी दी जाएगी।
- इस योजना के तहत छत्तीसगढ़ सरकार किसानों को हर एकड़ 10,000 रुपये बोनस के रूप में 3 वर्ष तक देगी।
- फिलहाल सरकार ने योजना को सफलतापूर्वक लागू करने के लिए 100 करोड़ रुपए का बजट रखा है।
- Mukhymantri Vriksh Sampada Yojana के तहत राज्य सरकार ने 5 साल के भीतर 2 लाख एकड़ निजी जमीन पर औषधीय वृक्षों और इमारतों का निर्माण करने का लक्ष्य रखा है।
- अब भूमि मालिक कृषि के लिए रोपित पेड़ों को स्वयं काट सकेंगे। इसके लिए उन्हें किसी की भी अनुमति नहीं चाहिए होगी।
- इस योजना से राज्य में नौकरी मिलेगी। किसानों की आमदनी बढ़ सकेगी।
- मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना के तहत पेड़ों की कटाई, छाल और लकड़ी को सरकार खरीदेगी।
- इस योजना के लागू होने से राज्य के लोगों को न सिर्फ पेड़-पौधे और हरियाली में समृद्धि होगी बल्कि अजीविका का साधन भी मिलेगा।
Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana 2024 के लिए योग्यता (Eligibiltiy)
- छत्तीसगढ़ के मूल निवासी मुख्यमंत्री वृक्ष संपदा योजना के लिए पात्र होंगे।
- योजना का लाभ उठाने के लिए सभी वर्ग के लोग पात्र होंगे।
- आवेदक 18 साल से अधिक होना चाहिए।
Vriksh Sampada Yojana के लिए आवश्यक दस्तावेज (Documents)
- आधार कार्ड (Aadhar Card)
- स्थाई प्रमाण पत्र (Permanent Certificate)
- आय प्रमाण पत्र (Income Certificate)
- बैंक खाता विवरण (Bank Account Details)
- जमीनी दस्तावेज (Land Documents)
- पासपोर्ट साइज फोटो (Passport Size Photo)
- मोबाइल नंबर (Mobile Number)
Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana 2024 Online Apply Process
- Mukhyamantri Vriksh Sampada Yojana के तहत आवेदन करने के लिए सबसे पहले आपको अपने निकटतम वन विभाग कार्यालय में जाना होगा।
- वहां जाकर संबंधित अधिकारी से आवेदन फॉर्म लेना होगा। दस्तावेज प्राप्त करने के बाद आपको सभी आवश्यक जानकारी दर्ज करनी होगी।
- सभी विवरण दर्ज करने के बाद आपको फॉर्म के साथ आवश्यक दस्तावेजों को संलग्न करना होगा।
- यह आवेदन फॉर्म पूरी प्रक्रिया पूरी करने के बाद वापस वहीं जमा करना होगा जहां से आपने इसे प्राप्त किया था।
- इस तरह आप इस योजना के लिए आवेदन कर सकेंगे।